कोविड! उत्तराखंड आ रहे हैं तो ये ख़बर पढ़ लें, कोविड संक्रमण को देखते ये नियम लागू
उत्तराखंड में कोविड का खतरा अभी टला नहीं है। राज्य में पिछले कुछ हफ्तों से मामलों में हल्का इजाफा देखने को मिल रहा है। वहीं देश में ओमिक्रोन की दस्तक ने भी चिंता बढ़ा दी है। उत्तराखंड में शनिवार को 21 नये मामले आये हैं। राज्य में सक्रिय मरीजों की संख्या 151 पहुंच गई है। प्रशासन द्वारा एयरपोर्ट पर बॉर्डर पर चेकिंग की जा रही है।
एयरपोर्ट पर चेकिंग अनिवार्य, बॉर्डर पर रैंडम
उत्तराखंड में कोविड के मामले अभी भी थमने का नाम नहीं ले रहे हैं। पिछले तीन हफ्तों से राज्य में कोरोना के मामलों में इजाफा हुआ है। वहीं कोविड के न्यू म्यूटेन ओमीक्रोन का खतरा भी बना हुआ है, ऐसे में एयरपोर्ट पर दोनो वैक्सीन की डोज और कोविड की नेगेटिव रिपोर्ट लाने पर ही राज्य में एंट्री मिल रही है। इसके अलावा बॉर्डर पर रैंडम चेकिंग की जा रही है, हालांकि सड़क मार्ग से आने वाले लोग, जिन पर कोविड की दोनों वैक्सीन लगाने का सर्टिफिकेट है उनको एंट्री मिल रही है। जिला प्रशासन का कहना है कि संदिग्ध लोगों पर भी नजर रखने के लिए कहा गया है।
बढ़ते मामलों को देखते हुए वैक्सीनेशन पर फोकस
कोरोना की तीसरी लहर को देखते हुए प्रशासन का पूरा फोकस अब शत प्रतिशत वैक्सीनेशन पर है। 31 दिसंबर तक राज्य में शत प्रतिशत वैक्सीनेशन करने का लक्ष्य सरकार का है जिसे पूरा किया जा रहा है। जिलाधिकारी देहरादून आर. राजेश कुमार ने बताया कि ओमीक्रोन वायरस की पुष्टि अभी तक देहरादून में नहीं हुई है। डीएम ने कहा कि हमारा पूरा फोकस वैक्सीनेशन पर है अभी जिले में पहली डोज शत प्रतिशत जबकि दूसरी डोज 80 प्रतिशत लोगों को लग चुकी है।
चिंता: दूसरी डोज का समय हो चुका, लेकिन नहीं आ रहे लोग
राज्य में कई ऐसे लोग हैं जिनको वैक्सीन की दूसरी डोज लगाने का समय पूरा हो चुका है, लेकिन लोग वैक्सीन लगाने नहीं आ रहे हैं। ये लोग स्वास्थ्य विभाग के लिए चिंता बने हुए हैं। ऐसे में विभाग ने ऐसे लोगों से संपर्क करना शुरू कर दिया है। दरअसल ये लोग अगर नहीं आते हैं तो सरकार का 31 दिसंबर तक शत प्रतिशत कोविड टीकाकरण का लक्ष्य अधूरा रह सकता है।